जिला जज ने किया राजकीय सम्प्रेक्षण गृह व बालगृह (बालिका) का औचक निरीक्षण
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स्वदेश प्रेम, ब्यूरो उत्तर प्रदेश – रमज़ान अली
गोंडा। नवागत जिला जज अनीता राज ने सोमवार को फैजाबाद रोड स्थित राजकीय सम्प्रेक्षण गृह और पोर्टरगंज स्थित बालगृह (बालिका) का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने वहां रह रहे किशोरों और बालिकाओं को उपलब्ध सुविधाओं, नि:शुल्क विधिक सहायता और उनके मामलों की पैरवी से संबंधित व्यवस्थाओं का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान उन्होंने व्यवस्थाओं को सुधारने के निर्देश भी दिए।
सम्प्रेक्षण गृह में व्यवस्थाओं का अवलोकन
जिला जज ने किशोर न्याय समिति के निर्देशानुसार सम्प्रेक्षण गृह में संचालित विभिन्न गतिविधियों की जानकारी ली। उन्होंने प्रभारी अधीक्षक संतोष कुमार दूबे को परिसर में स्वच्छता बनाए रखने और रहने वाले किशोरों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए।
निरीक्षण के दौरान जिला जज ने स्टोर रूम और किचन का भी गहन निरीक्षण किया और वहां उपलब्ध भोजन की गुणवत्ता को परखा। उन्होंने यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि किशोरों को पौष्टिक भोजन मिले और उन्हें किसी भी प्रकार की असुविधा न हो।
इस अवसर पर अधीक्षक ने बताया कि वर्तमान में सम्प्रेक्षण गृह में 54 किशोर रह रहे हैं, जिनकी शिक्षा, चिकित्सा और कानूनी सहायता से संबंधित सभी व्यवस्थाएं की जा रही हैं।
बालगृह (बालिका) में भोजन व्यवस्था पर विशेष निर्देश
बालगृह (बालिका) के निरीक्षण के दौरान जिला जज ने बालिकाओं से बातचीत कर उनकी समस्याओं को सुना और उन्हें बेहतर सुविधाएं देने के लिए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया। उन्होंने खासतौर पर इस बात पर जोर दिया कि बालिकाओं को तय मेन्यू के अनुसार उचित नाश्ता और भोजन समय पर उपलब्ध कराया जाए।
दस्तावेजों और रिकॉर्ड प्रबंधन पर विशेष जोर
निरीक्षण के दौरान जिला जज ने सम्प्रेक्षण गृह और बालगृह में रखे जा रहे दस्तावेजों का भी अवलोकन किया और अधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी अभिलेख व्यवस्थित और अपडेट रखें जाएं।
निरीक्षण के दौरान उपस्थित अधिकारी
निरीक्षण के समय अपर जिला जज एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव दानिश हसनैन, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट नेहा रूंगटा, सिटी मजिस्ट्रेट पंकज वर्मा, सीओ सदर आनंद राय, नायब तहसीलदार अहमद हसन सहित सम्प्रेक्षण गृह और बालगृह के सभी अधिकारी एवं कर्मचारी मौजूद रहे।
निष्कर्ष
जिला जज अनीता राज के इस निरीक्षण का उद्देश्य सम्प्रेक्षण गृह और बालगृह में रह रहे बच्चों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराना और व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से संचालित करना था। उनके निर्देशों से यह स्पष्ट है कि प्रशासन इन संस्थानों की गुणवत्ता सुधारने के प्रति प्रतिबद्ध है, जिससे वहां रह रहे बच्चों को सुरक्षित और अनुकूल वातावरण मिल सके।